विश्वास है कि छत्तीसगढ़ को नक्सलवाद से मुक्त करने में सफलता मिलेगी, विधानसभा के रजत जयंती समारोह में राष्ट्रपति का प्रबोधन

विश्वास है कि छत्तीसगढ़ को नक्सलवाद से मुक्त करने में सफलता मिलेगी, विधानसभा के रजत जयंती समारोह में राष्ट्रपति का प्रबोधन

रायपुर (चैनल इंडिया)। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा है कि छत्तीसगढ़ में वामपंथी उग्रवाद से प्रभावित लोगों को समाज से जोडऩे का काम अंतिम और निर्णायक मोड पर है। मुझे विश्वास है कि छत्तीसगढ़ को नक्सलवाद से मुक्त करने में सफलता हासिल करेंगे और राज्य का नाम इतिहास में स्वर्णिम अक्षर में जोड़ेंगे। गुरु घासीदास के विचार मनखे मनखे एक समान पर काम करेंगे। 


 राष्ट्रपति आज सुबह यहां विधानसभा में विधानसभा के रजत जयंती वर्ष पर आयोजित समारोह में विधायकों को प्रबोधन दे रही थीं। राष्ट्रपति ने विधानसभा में जय जोहार का नारा देकर अपना संबोधन शुरू किया। उन्होंने कहा कि यहां आकर मुझे ओडिशा विधानसभा में विधायक कार्यकाल की याद आ रही है। इस विधानसभा के इतिहास के बारे में जानकार ये मान्यता और भी प्रबल हो जाती है कि छत्तीसगढिय़ा सबले बढिय़ा। छत्तीसगढ़ विधानसभा में 25 साल के दौरान इस सदन में कभी भी मार्शल का इस्तेमाल नहीं करना पड़ा। इस विधानसभा ने श्रेष्ठ आचरण का उदाहरण पेश किया।

 राष्ट्रपति ने कहा कि छत्तीसगढ़ को मातृ शक्ति का रूप कहा जा सकता है। इस सुंदर राज्य के सम्मान में जय जय छत्तीसगढ़ महतारी गाया जाता है। ये राज्य सही अर्थ में भारत माता का प्रतीक है। भारत की संसदीय परंपरा में छत्तीसगढ़ की मिनी माता का नाम हमेशा लिया जाता है। उन्होंने कहा कि सदन में सभी विधायकों को विशेषकर महिला विधायकों को ये प्रयास करना चाहिए कि अगले विधानसभा में महिला विधायकों की संख्या में और इजाफा हो। 

 राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने अपने संबोधन के आखिर में कहा कि वह डॉ. चरणदास महंत की बात से सहमत है कि संभलपुर को जैसे छत्तीसगढ़ का हिस्सा समझते हैं वैसे ही हम रायपुर को ओडिशा का हिस्सा मानते हैं। दिल की कोई दीवार नहीं है। दिल से हम सब एक जैसे हैं। छत्तीसगढ़ का चावल प्रभु जगन्नाथ में चढ़ाया जाता है, जिसे पूरे विश्व के लोग खाते हैं। छत्तीसगढ़ के लोग बहुत अच्छे हैं इसलिए कहा जाता है कि छत्तीसगढिय़ा सबले बढिय़ा। 

यह ऐतिहासिक अवसर: सीएम
विधानसभा में राष्ट्रपति का स्वागत करते हुए मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ के लिए ये अवसर ऐतिहासिक है कि विधानसभा के रजन जयंती समारोह में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने शिरकत की। साल 2000 में छत्तीसगढ़ का निर्माण पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने किया था। यह वर्ष अटलजी की जन्म शताब्दी का वर्ष है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा में एक अच्छे वातावरण में सदन का काम आगे बढ़ रहा है।

पक्ष-विपक्ष में मनभेद नहीं: डॉ. रमन
इस मौके पर विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने हुए राष्ट्रपति का स्वागत करते हुए विधानसभा में मौजूद विधायकों के बारे में जानकारी दी। डॉ. रमन सिंह ने बताया कि अब तक कुछ 565 विधेयक पारित किए गए। उन्होंने ये भी बताया कि विधानसभा में पक्ष और विपक्ष मिलकर किसी भी विधेयक को एक मत से पारित करते हैं। पक्ष और विपक्ष के बीच मतभेद हो सकता है लेकिन मनभेद नहीं हैं। उन्होंने बताया कि हर साल पक्ष और विपक्ष के उत्कृष्ट विधायक को सर्वश्रेष्ठ विधायक का चुनाव होता है। जल्द ही छत्तीसगढ़ विधानसभा नया रायपुर में लगेगी। 

राष्ट्रपति का एयरपोर्ट पर स्वागत

राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु के आज छत्तीसगढ़ आगमन पर स्वामी विवेकानंद एयरपोर्ट रायपुर में राज्यपाल रमेन डेका, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय, केंद्रीय राज्यमंत्री तोखन साहू, उपमुख्यमंत्री अरुण साव एवं विजय शर्मा, महापौर मीनल चौबे, पूर्व राज्यपाल रमेश बैस, पूर्व सांसद सुश्री सरोज पाण्डे, गौरीशंकर अग्रवाल व शिवरतन शर्मा सहित अन्य जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों ने स्वागत किया।

रोपा कदम्ब का पौधा


विधानसभा के रजत जयंती समारोह के अवसर पर आज राष्ट्रपति ने विधानसभा परिसर में कदम्ब का पौधरोपण किया। इस अवसर पर राज्यपाल रमेन डेका, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह उपस्थित थे।