गंभीर कुपोषित बच्चों को सुपोषित करने जनप्रतिनिधि एवं अधिकारी लेंगे गोद

गंभीर कुपोषित बच्चों को सुपोषित करने जनप्रतिनिधि एवं अधिकारी लेंगे गोद

गरियाबंद से विजय साहू की रिपोर्ट

जिले में कुपोषण दूर करने गंभीरतापूर्वक करे कार्य , आंगनबाड़ी में बच्चो की शतप्रतिशत उपस्थिति करे सुनिश्चित : कलेक्टर

गरियाबंद । जिले के गंभीर कुपोषित बच्चों को सुपोषित करने जिला प्रशासन द्वारा बड़ी पहल की जा रही है। इसके अंतर्गत कुपोषित बच्चों को जनप्रतिनिधियों एवं अधिकारियों द्वारा गोद ली जायेगी। गोद लिए बच्चे को आंगनबाड़ी केन्द्रों में अतिरिक्त पोषण आहार एवं आवश्यक सामग्री प्रदान की जायेगी। साथ ही नियमित टीकाकरण, स्वास्थ्य जांच, वजन मापन एवं आवश्यक ईलाज भी प्राथमिकता से प्रदान किया जायेगा। इससे बच्चा कुपोषण से मुक्त होगा। साथ ही जिले के कुपोषण दर में भी कमी आयेगी। इसके लिए कलेक्टर भगवान सिंह उइके ने महिला एवं बाल विकास विभाग के परियोजना अधिकारियों एवं सुपरवाईजरों की बैठक लेकर आवश्यक निर्देश दिये। कलेक्टर ने सभी परियोजना अधिकारीयों को अपने क्षेत्र के गंभीर कुपोषित बच्चों का जानकारी प्रदान कर उन्हें क्षेत्र के जनप्रतिनिधि एवं जिला अधिकारी से मेपिंग करने के निर्देश दिये। कलेक्टर ने बैठक में विभाग अंतर्गत संचालित विभिन्न योजनाओं, सेवाओं एवं कार्यक्रमों के बारे में जानकारी ली। उन्होंने कहा कि जिले के सभी आंगनबाड़ी केन्द्रों में बच्चों की शत-प्रतिशत उपस्थिति सुनिश्चित करें। बच्चों को आंगनबाड़ी केन्द्रों पर निर्धारित मेन्यू के अनुसार नाश्ता एवं गर्म भोजन भी उपलब्ध कराये। पोषण ट्रेकर के माध्यम से आंगनबाड़ी केन्द्रों में बच्चों की उपस्थिति की एण्ट्री करें। पूरक पोषण आहार कार्यक्रम अंतर्गत कुपोषित बच्चों को लाभान्वित करें तथा गर्भवती, शिशुवती एवं किशोरी बालिकाओं को भी पूरक पोषण आहार प्रदान करें। कलेक्टर ने आंगनबाड़ी पर्यवेक्षकों को आंगनबाड़ी केन्द्रों  का नियमित निरीक्षण करने तथा वहां बच्चो के लिए उच्च गुणवत्ता के पोषण आहार वितरण सुनिश्चित करने के निर्देश दिये है। उन्होंने जिले में कुपोषण को दूर करने सक्रिय होकर कार्य करने के निर्देश दिये। साथ ही अधिक कुपोषण वाले जगहों में विशेष कैंप लगाकर पूरक पोषण आहार वितरित करने एवं नियमित निगरानी करने के भी निर्देश दिये। साथ ही स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा बच्चो का स्वास्थ्य जांच भी नियमित रूप करने के निर्देश दिये। कलेक्टर ने ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को बाल विवाह एवं बहुविवाह जैसी कुरीतियों के प्रति जागरूक करने के भी निर्देश दिये। समीक्षा बैठक में जिला  सीईओ  जीआर मरकाम, अपर कलेक्टर  नवीन भगत, जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग अशोक पाण्डेय, डीएसपी सुश्री निशा सिन्हा, सीडीपीओ सहित पर्यवेक्षक मौजूद रहे।
 कलेक्टर भगवान सिंह उइके ने बैठक में कहा कि बच्चों में कुपोषण दूर करने के लिए सीडीपीओ एवं सुपरवाइजर लक्ष्य निर्धारित कर कुपोषण की स्थिति में सुधार लाए। बैठक में आंगनबाड़ी केन्द्रों के संचालन तथा कार्यकर्ता एवं सहायिकाओं की कार्यरत एवं शेष रिक्त पदों की भी जानकारी ली। कलेक्टर ने कुपोषण मुक्त गांव के लिए विशेष कार्ययोजना बनाकर क्रियान्वित करने के निर्देश दिये। शासन द्वारा पूरी तरह कुपोषण मुक्त पंचायत को एक लाख रूपये प्रोत्साहन के रूप में प्रदान किया जयेगा। इसके लिए विभिन्न मापदण्डों को पूर्ण करना होगा। कलेक्टर ने आंगनबाड़ी केन्द्रों में पौष्टिक एवं उच्च गुणवत्ता के गर्म भोजन उपलब्धता के लिए आंगनबाड़ी सहायिकाओं को प्रशिक्षण दिलाने के निर्देश दिये। उन्होंने बैठक में जिले में स्वीकृत, संचालित, निर्माणाधीन, अपूर्ण एवं अप्रारंभ आंगनबाड़ी भवनों की भी जानकारी लेकर आवश्यक निर्देश दिये। कलेक्टर ने बैठक में मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना, प्रधानमंत्री मातृ वंदना, महतारी वंदन योजना, नोनी सुरक्षा योजना, सखी सेन्टर, एनआरसी आदि कार्यक्रमो की भी विस्तृत समीक्षा की। उन्होंने बाल कल्याण समिति में लंबित प्रकरणों की जानकारी, किशोर बोर्ड न्याय की जानकारी, स्पॉन्सरशीप योजना की जानकारी, नवा बिहान शाखा, आंगनबाड़ी केन्द्रों में एलपीजी गैस कनेक्शन सहित अन्य योजनाओं की भी समीक्षा की।