अचानक गंजे होने लगे महाराष्ट्र में कई गांवों के लोग, घटना के बाद अधिकारिओं में मचा हड़कंप

अचानक गंजे होने लगे महाराष्ट्र में कई गांवों के लोग, घटना के बाद अधिकारिओं में मचा हड़कंप

नई दिल्ली। आज की भागदौड़ वाली जीवनशैली में महिलाओं और पुरुष दोनों के लिए ही बाल का झड़ना आम बात है। बाल झड़ना एक नेचुरल प्रोसेस है। कंघी करते या बाल धोते समय थोड़े बाल गिरते ही हैं। हालांकि जब किसी के बाल एक बड़े हिस्से में गिरने लगें या फिर गंजेपन के स्पॉट दिखाई देने लगे तो डॉक्टर के पास जाना चाहिए।

बीते दिनों महाराष्ट्र के बुलढाना से बाल झड़ने के अप्रत्याशित मामले सामने आने लगे हैं। यहां के कई गांवों के लोग अचानक बहुत अधिक बाल झड़ने की समस्या का सामना कर रहे हैं। इसके चलते लोगों को कुछ ही दिनों में गंजेपन की शिकायत भी हो रही है। हालात ऐसे हुए कि अधिकारियों को संभावित प्रदूषण के लिए स्थानीय वाटर सप्लाई की टेस्टिंग शुरू करनी पड़ी है। 

एक स्थानीय बुजुर्ग महिला ने कहा कि पिछले रविवार से उनके बाल झड़ रहे हैं। उन्होंने अपने बालों को एक छोटे बैग में संभालकर रखा है। वहीं एक युवक ने बताया कि उसके बाल भी झड़ रहे हैं और पिछले 10 दिनों से वह तेजी से हेयरलाइन कम होते देख रहा है। उनके चेहरे के बाल (दाढ़ी) भी झड़ रहे हैं। 

बहुत से लोग जिनके बाल झड़ रहे हैं उन्होंने अपना सिर मुंडवा लिया है। जांच टीम में शामिल एक त्वचा देखभाल विशेषज्ञ ने कहा कि तीन गांवों से एकत्र किए गए पानी के नमूने परीक्षण के लिए भेजे गए हैं।

विशेषज्ञ ने प्रभावित लोगों के सिर की बायोप्सी कराने को भी कहा, ताकि बीमारी  का पता लगाया जा सके। इस मामले को लेकर गांव के सरपंच ने तीन दिन पहले जिला स्वास्थ्य विभाग को मामले की सूचना दी थी।

ऐसे केस आने के बाद मंगलवार को स्वास्थ्य विभाग की टीम ने गांवों में सर्वे शुरू किया। शेगांव की स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. दीपाली बहेकर ने यहां संवाददाताओं को बताया कि प्रभावित लोगों का चिकित्सा उपचार शुरू कर दिया गया है। अधिकारियों ने कहा कि जिला परिषद के स्वास्थ्य विभाग द्वारा किए गए सर्वेक्षण के दौरान शेगांव तालुका के कलवाड, बोंडगांव और हिंगना गांवों के 30 लोग बालों के झड़ने की समस्या और गंजेपन से पीड़ित पाए गए।

बहेकर ने मंगलवार को कहा कि विभाग ने लक्षणों के अनुसार मरीजों का चिकित्सा उपचार शुरू कर दिया है और स्किन केयर स्पेशलिस्ट से भी सलाह ली जा रही है। जिला परिषद के एक स्वास्थ्य अधिकारी ने कहा कि संभावित संदूषण की जांच के लिए इन गांवों से पानी के सैंपल भी परीक्षण के लिए भेजे जा रहे हैं।